Symphytum 30 Uses in Hindi | सिम्फाइटम 30 के उपयोग और लाभ
Symphytum 30 Uses In Hindi : सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन किसी भी प्रकार की चोट के लगने जैसे कि किसी चीज से कट जाने पर, गिरने से, मोच आ जाने से में बहुत लाभ करती है। इसके अलावा ये होम्योपैथिक मेडिसिन टूट्टी हुई हड्डी को जोड़ने में भी बहुत मदद करती है। हड्डी जुड़ने या चोट के ठीक हो जाने के बाद उस स्थान पर हल्का सा दर्द रह जाने को भी ये होम्योपैथिक मेडिसिन बिल्कुल दूर कर देती है।
विभिन्न रोगों के लक्षणों के आधार पर सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन का उपयोग –
Symphytum 30 के लिए सिर से सम्बंधित लक्षण
रोगी के माथे के पीछे, माथे के ऊपर और माथे में जगह बदल-बदलकर होने वाला दर्द जो नाक की हड्डी में पहुंच जाता है, रोगी के जबड़े की नीचे वाली हड्डी में जलन होना, हड्डी का सख्त, लाल और सूज जाना आदि लक्षणों में रोगी को सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन देना बहुत ही प्रभावशाली रहता है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए आंखों से सम्बंधित लक्षण
रोगी की आंखों में किसी तरह की नुकीली या औजार से चोट लग जाने के बाद आंखों में बहुत तेज दर्द होना, आंखों के अंदर की किसी भी तरह की चोट आदि लक्षणों के आधार पर सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन का सेवन काफी लाभदायक रहता है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए वृद्धि – छूने से, किसी तरह की हरकत करने से, दबाने से, शस्त्र की चोट या जख्म होने से रोग बढ़ जाता है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए शमन – गर्मी से रोगी का रोग कम हो जाता है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए तुलना – आर्नि, कैलेन्ड, कैल्क-फास, फ्लोर-एसिड, हिपर और साइलीशिया के साथ सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन की तुलना की जा सकती है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए मात्रा – रोगी को सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन का मूलार्क देने से रोगी कुछ ही दिनों में स्वस्थ हो जाता है।
Symphytum 30 Uses in Hindi के लिए अन्य जानकारी – किसी तरह की जख्मों और मलद्वार की खुजली में सिम्फाइटम होम्योपैथिक मेडिसिन का बाहरीय प्रयोग पट्टी आदि के रूप में किया जा सकता है।
इन्हें भी पढ़े
- China 30 Uses in Hindi : चायना 30 के उपयोग और लाभ
- Sulphur 200 Uses in Hindi : सल्फर 200 के उपयोग और लाभ
- Acid Phos 30 Uses in Hindi : एसिड फ़ॉस 30 के उपयोग और लाभ
- Thuja 30 Uses in Hindi : थूजा 30 के उपयोग और लाभ
Symphytum 30 की खुराक और इस्तेमाल करने का तरीका –Symphytum 30 Dosage & How to Take in Hindi
होम्योपैथिक चिकित्सा पद्धिति को उपचार की एक सुरखित चिकित्सा पद्धिति माना जाता है और किसी भी रोग का उपचार करने पर यह दवाएं रोग को जड़ से समाप्त कर देती हैं | होम्योपैथिक दवाओं का असर धीमा होता है मगर यह रोग को जड़ से ख़त्म भी करता है जबकि इसके विपरीत एलोपेथिक चिकित्सा पद्धिति में दवाओं का असर तो जल्दी होता है मगर यह रोग को जड़ से समाप्त करने में कारगर नहीं होती है |
- Symphytum 30 की खुराक और इस्तेमाल जब भी आप कर रहे है तो आपको कुछ बातों का ध्यान रखना जरुरी होता है –
- Symphytum 30 का उपयोग करते समय इनको ठंडी और अँधेरी जगह पर रखना आवश्यक है |
- Symphytum 30 की खुराक लेते समय हाथों से छूना ठीक नहीं होता है इस से दवा के लाभ मिल नहीं पाते है |
- अगर आप Symphytum 30 दवा की खुराक ले रहे है तो आपको कांच के ग्लास में लेना चाहिए
Symphytum 30 से सम्बंधित चेतावनी – Symphytum 30 Related Warnings in Hindi
- होम्योपैथिक दवा Symphytum 30 को अपने घर में सावधानी से रखना चाहिए क्योंकि अधिक धूप में या अधिक तापमान वाली जगह पर रखने से होम्योपैथिक दवा ख़राब हो जाती है |
- जब भी Symphytum 30 होम्योपैथिक दवा का डोज ले रहे है तो ध्यान रखें की दवा का डोज ऑवेरलेप ना हो अगर ऐसा होता है तो दवा का लाभी नहीं मिल पाता है |
- सामान्य तौर पर तो होम्योपैथिक दवा Symphytum 30 का किसी प्रकार का कोई हानिकारक प्रभाव नहीं है मगर फिर भी स्तनपान कराने वाली महिलाओं को यह दवा बिना डॉक्टर की सलाह के नहीं लेना चाहिए
- गर्भवती महिलाओं के लिए यह दवा सुरक्षित है इसका कोई हानिकारक प्रभाव देखने को नहीं मिलता है |
- अगर कोई रोगी किडनी के रोग से ग्रसित है और वह इस दवा का उपयोग करता है तो का कोई दुष्प्रभाव नहीं होगा यह सुरखित है |
Symphytum 30 दवा का सेवन करने में परहेज – Avoidance While Taking Symphytum 30 Medicine
Symphytum 30 होम्योपैथिक दवा का सेवन करते समय सामान्य तौर पर किसी भी प्रकार का परहेज करना नहीं होता है मगर, होम्योपैथिक दवाओं का उपयोग करते समय कच्चे प्याज, लहसुन, का उपयोग नहीं करना चाहिए इनका उपयोग करना होम्योपैथिक दवाओं के प्रभाव को कम कर सकता है |
- इसके अलावा अगर आप गुटका या पान खाते है तो होम्योपैथिक उपचार के समय इसको खाने से बचना आपके लिए लाभकारी होगा
- अगर आपको स्मोकिंग की आदत है तो भी आपको होम्योपैथिक दवाओं का सेवन करते समय स्मोकिंग करने से बचना चाहिए क्योंकि स्मोकिंग करने के कारण होम्योपैथिक दवाओं का प्रवाभ काम हो जाता है |
होम्योपैथिक दवाओं का उपोग करते समय सावधानी – Caution While Using Homeopathic Medicines :
- अगर आप होम्योपैथिक उपचार लेते हैं तो आपको डॉक्टर द्वारा बताये गए सभी प्रकार के नियमों का पालन करना चाहिए, अगर आप ऐसा नहीं करते है तो आपको इन दवाओं का लाभ नहीं मिलता है |
- दवा खाते समय हाथ में ना लेते हुए उसको खांच के ग्लास या किसी भी कांच के बर्तन का उपयोग कर सकते है |
- अगर दवा को डॉक्टर ने तरल रूप में दिया है तो उसको उसी प्रकार लेने से ही लाभ मिलता है |
Symphytum 30 और एलोपथिक दवाओं में अंतर – Difference Between Symphytum 30 And Allopathic Medicines :
अगर आप किसी भी रोग के उपचार के लिए होम्योपैथिक और एलोपथिक दोनों दवाओं में से किसी एक को चुनते है तो आपको कुछ आवश्यक बातों का ध्यान रखना जरुरी है –
- इस दवा का उपयोग करके आप रोग को जड़ से ख़त्म कर सकते है, जबकि एलोपथिक दवा से किसी रोग का जड़ से इलाज कुछ रोगों में ही हो पाता है |
- एलोपथिक दवाओं का लम्बे समय तक उपयोग करने से कई प्रकार के शारीरिक दुष्प्रभाव देखने को मिलते है मगर होम्योपैथिक दवाओं का दुष्प्रभाव बहुत ही कम देखने को मिलता है |
- होम्योपैथिक दवाओं का सेवन बहुत ही आसान है और बच्चों से ले कर बूढों तक कोई भी इन दवाओं को आराम से खा सकता है |
- बच्चों के लिए इन दवाओं का सेवन करना बहुत ही लाभकारी होता और बच्चे इन दवाओं को खाने में किसी भी प्रकार की समस्या नहीं करते है उसका कारण है की यह दवाएँ मीठी गोलियों के रूप में दी जाती है |
- एलोपथिक दवाएं अधिकतर स्वाद में कड़वी होती है इस कारण बच्चे इनको खाने में समस्या करते है और आसानी से इन दवाओं का सेवन नहीं करते है |
- होम्योपैथिक दवाएँ थोडा धीमा असर कारती है जबकि एलोपैथी की दवाएं थोडा जल्दी अपना असर दिखाती है |
- अगर आपको तुरंत राहत चाहिए तो आप एक सीमित समय के लिए एलोपकी दवाओं का उपयोग कर सकते है, मगर यह सिर्फ एक सीमित समय अवधि तक ही आराम दे सकती हैं |
- अगर आप रोग से हमेशा के लिए छुटकारा चाहते है तो आपके लिए होमियोपैथी की दवाओं का उपयोग लाभकारी होता है |